देहरादून। यौन शोषण के आरोपों से घिरे बीजेपी नेता संजय कुमार प्रकरण ने भाजपा संगठन और सरकार को असहज कर दिया है। दोनों ही बयान देने से बच रहे हैं। हालत यह है कि संजय कुमार को लेकर पार्टी सरकार से तो सरकार पार्टी से जवाब देने को कह रही है। वहीं लोसभा चुनाव में कांग्रेस इसे मुद्दा बना सकती है। जिससे भाजपा की फजीहत भी हो सकती है।
निकाय चुनाव के बीच उठे संजय कुमार यौन शोषण मामले से हालांकि तात्कालिक तौर पर पार्टी ने संजय कुमार से इस्तीफा दिलाकर चुनाव वैतरणी पार कर ली थी, लेकिन अब पीड़िता के सामने आने और मामले में रिपोर्ट दर्ज होने के बाद संगठन और सरकार को जवाब देते नहीं बन पा रहा है। इस हाई प्रोफाइल मामले में बोलने से भाजपा संगठन भी कतरा रहा है और तो सरकार में बैठे लोग भी। उच्च शिक्षा राज्य मंत्री धन सिंह रावत ने इस बारे में सवाल पूछे जाने पर गेंद पार्टी के पाले में डाल दी। धन सिंह ने कहा कि इस बारे में जवाब देने के लिए अधिकृत पार्टी अध्यक्ष ही हैं। लेकिन पार्टी के इस मामले पर अजय भट्ट भी कन्नी काट गए अजय भट्ट ने इस मामले पर बयान देने से इनकार करते हुए कहा कि इस पर सरकार के प्रवक्ता से ही बात करनी चाहिए।
संजय कुमार के खिलाफ यौन शोषण मामले में एफआईआर होने और पीड़िता के सामने आने से कांग्रेस को भी हमलावर होने का मौका मिल गया। पार्टी उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना ने कहा कि सिर्फ संजय कुमार ही नहीं इस मामले को दबाने में बीजेपी संगठन और सरकार के बहुत सारे लोग शामिल थे, उन सब पर भी मुकदमा दायर होना चाहिए।
लोकसभा चुनाव की जंग का मैदान तैयार हो गया है और प्रदेश नहीं लेकिन देश के स्तर पर राजनीति तेज हो गई है। ऐसे में यह मामला पार्टी विद अडिफरेंस के लिए मुश्किल का सबब बन सकता है और कांग्रेस के तेवर देखकर लगता नहीं कि वह इस मामले को आसानी से ठंडा होने देगी।